08.02.2018 ►SS ►Sangh Samvad News

Published: 08.02.2018
Updated: 10.02.2018

Update

📿 *नवीन चातुर्मास घोषणा*📿

🔹 *परम पूज्य आचार्य श्री महाश्रमण जी* ने महत्ती कृपा कर *हिमांशु मुनि* ठाणा -4 का *संवत 2075 का चातुर्मास जगराऔ (पंजाब)* में फरमाया है।

प्रस्तुति: 🌻 *संघ संवाद*🌻

https://www.facebook.com/SanghSamvad/

*09/02/18* दक्षिण भारत मे मुनि वृन्द, साध्वी वृन्द का सम्भावित विहार/ प्रवास
दर्शन सेवा का लाभ ले
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*संघ संवाद* + *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी* *के आज्ञानुवर्ति मुनिश्री सुव्रत कुमार जी ठाणा* 2 का प्रवास
*तेरापंथ भवन*
*के.वी. कुप्पम*
गुडियातम-वैलुर रोड
☎9003789485
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*संघ संवाद* + *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के आज्ञानुवर्ती मुनि श्री रणजीत कुमार जी ठाणा २* का प्रवास
GOVERNMENT SCHOOL
*BANIKUPE*
*Mysore -Hunsur Road* (कर्नाटक)
☎9448385582
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के सुशिष्य*
*मुनि श्री ज्ञानेन्द्र कुमार जी ठाणा 3* का प्रवास
*महावीर भवन*
*विलिपुरम*
☎8107033307
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के सुशिष्य डॉ *मुनि श्री अमृत कुमार जी ठाणा २ का प्रवास*
*महावीर भवन*
*विलिपुरम*
☎9566296874
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के सुशिष्य मुनि श्री प्रशान्त कुमार जी ठाणा २* का प्रवास
*Sree Agastiya Temple*
No ER -391/91
Pudiyagoan
Tirupunitra(केरला) ☎9672039432,7907269421
9246998909
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के सुशिष्य मुनि श्री सुधाकर जी एवं मुनि श्री दीप कुमार जी का प्रवास*
*GOVERNMENT PRIMARY SCHOOL*
*BIJAPUR* (कर्नाटक)
हुबली - बैगलौर हाईवे
☎7821050720,9558651374
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या 'शासन श्री' साध्वी श्री विद्यावती जी 'द्वितिय' ठाणा ५* का प्रवास
M.T.V. SCHOOL से विहार करके *कृष्णगिरि मन्दिर* पधारेगे (तमिलनाडु)
बैगलोर - चेन्नई रोड
☎8890788494,9845353039
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या "शासन श्री" साध्वी श्री यशोमती जी ठाणा 4* का प्रवास
*घर्मावरम् HP पेट्रोल पम्प से 13.5 km का विहार करके ऐरावरम् हाई स्कूल पधारेगे*
विशाखापट्नम् - चेन्नैइ रोड
☎7297958479,9025434777
7044937375
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या 'शासन श्री' साध्वी श्री कंचनप्रभा जी ठाणा 6* का प्रवास
*अर्हम भवन विजयनगर बैगलौर*
(कर्नाटक)
☎7624946879,
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी श्री काव्यलता जी ठाणा 4* का प्रवास
*North town*
*Chennai* (तमिलनाडु)
☎9884901680,
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिस्या साध्वी श्री प्रज्ञाश्री जी ठाणा 4 का प्रवास*
*आटिगल*
*THIRUVANTHAPURAM- COLAM ROAD* (केरला)
☎8875762662
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*संघ संवाद+ संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिस्या साध्वी श्री सुर्दशना श्री जी ठाणा 4 का प्रवास*
*मोका से 7.5 km का विहार करके येरेगुडी कल्याण मंडप मे पधारेगे*
बेलारी- रायचुर रोड
☎9845123211
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*संघ संवाद+संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी श्री लब्धि श्री जी ठाणा 3 का प्रवास*
*आरेहल्ली से 11 km का विहार करके दब्बेगेडी स्कुल मे पधारेगे*
हासन - मैसुर रोड
☎9601420513,
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*संध संवाद*+ *संध संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी श्री मघुस्मिता जी ठाणा 6* का प्रवास *तेरापंथ सभा भवन गॉधीनगर बैगलौर* (कर्नाटक)
☎7798028703
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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प्रस्तुति:- 🌻 *संघ संवाद* 🌻

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Sangh Samvad
News, photos, posts, columns, blogs, audio, videos, magazines, bulletins etc.. regarding Jainism and it's reformist fast developing sect. - "Terapanth".

*आचार्य श्री महाश्रमण आंध्र प्रदेश सरकार द्वारा राजकीय अतिथि घोषित*

अहिंसा यात्रा प्रणेता *आचार्य श्री महाश्रमण* को *आंध्रप्रदेश सरकार* द्वारा दिनांक 2-04-2018 से 30-06-2018 तक की आंध्रा की यात्रा के दरम्यान *राज्य सरकार के राजकीय अतिथि* का सम्मान देने की घोषणा की है। प्रोटोकॉल ऑफिसर द्वारा इस आशय का सूचना पत्र 6 फरवरी को सम्बन्धित विभागों को निर्देश देते हुए जारी किया गया है।

दिनांक - 08-02-2018

प्रस्तुति -🌻 *संघ संवाद* 🌻

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👉 बेंगलुरु - संस्कृति का संरक्षण-संस्कारो का संवर्द्धन
👉 कोलकाता - "नो प्लास्टिक" "प्लास्टिक - फ्री लाइफ" पर कार्यक्रम आयोजित
👉 अहमदाबाद - प्लास्टिक फ्री वीक कार्यक्रम के अन्तर्गत तेरापंथ महिला मंडल द्वारा विधान सभा भवन में प्रचार प्रसार
👉 किशोरपुरा - वृहद कैंसर चिकित्सा जांच शिविर एवं प्लास्टिक निषेध हेतु रैली का आयोजन

प्रस्तुति: 🌻 *संघ संवाद*🌻

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🏵 ❄ *अणुव्रत* ❄ 🏵

🔮 *संपादक* 🔮
*श्री अशोक संचेती*

💠 *फरवरी अंक* 💠
का
🌸 आकर्षण 🌸

‼पढिये‼

*अणुव्रत दिग्दर्शन*
स्तम्भ के अंतर्गत

*अणुव्रत*
के
*प्रथम अधिवेशन*
का
*इतिहास*

🔅🔅🔅

❄ प्रेषक ❄
*अणुव्रत सोशल मीडिया*

❄ संप्रसारक ❄
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Caption

👉 *तेरापंथ नेटवर्क* की प्रगति में भागीदार बनें।

प्रस्तुति: *तेरापंथ नेटवर्क*
संप्रसारक: 🌻 *संघ संवाद* 🌻

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Update

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जैनधर्म की श्वेतांबर और दिगंबर परंपरा के आचार्यों का जीवन वृत्त शासन श्री साध्वी श्री संघमित्रा जी की कृति।

📙 *जैन धर्म के प्रभावक आचार्य'* 📙

📝 *श्रंखला -- 254* 📝

*भवार्णव पारगामी आचार्य भद्रबाहु-द्वितीय*
*(निर्युक्तिकार)*

*साहित्य*

गतांक से आगे...

*सूत्रकृतांग निर्युक्ति* आचारांग की भांति इस निर्युक्ति में भी अनेक शब्दों की निक्षेप पद्धति से व्याख्या की गई है। इस निर्युक्ति की 205 गाथाएं हैं। दार्शनिक और सैद्धांतिक चर्चाओं की दृष्टि से यह निर्युक्ति महत्त्वपूर्ण है। इसमें क्रियावादी आदि 363 मतांतरों का उल्लेख है। प्रस्तुत निर्युक्ति की रचना आचारांग निर्युक्ति के बाद हुई है।

*दशाश्रुतस्कंध निर्युक्ति* ऐतिहासिक बिंदुओं के संदर्भ में यह निर्युक्ति महत्त्वपूर्ण है। इस निर्युक्ति में निर्युक्तिकार भद्रबाहु ने छेद सूत्रकार श्रुतकेवली भद्रबाहु को प्राचीन गोत्रीय कहकर नमस्कार किया है। इससे छेद सूत्रकार और निर्युक्तिकार भद्रबाहु की भिन्नता का बोध होता है। उपासक के प्रकारों को समझने के लिए छठे अध्ययन की निर्युक्ति, भिक्षु प्रतिमा के प्रकारों को समझने के लिए सातवें अध्ययन की निर्युक्ति सम्यक् सामग्री प्रदान करती है। अष्टम अध्ययन की निर्युक्ति में पर्यूषण कल्प की व्याख्या है। परिवसना, पर्युषण, पर्युपशमना, वर्षावास, प्रथम समवसरण, स्थापना, ज्येष्ठअवग्रह इन शब्दों को प्रस्तुत निर्युक्ति में एकार्थक कहकर उल्लेख किया गया है।

*वृहत्कल्प निर्युक्ति और व्यवहार निर्युक्ति* छेद आगम पर आधारित यह दोनों निर्युक्तियां महत्त्वपूर्ण हैं। इन दोनों का प्रतिपाद्य विषय श्रमणाचार के विधि-विधानों से संबंधित होने के कारण लगभग एक जैसा है। वर्तमान में ये दोनों निर्युक्तियां भाष्य मिश्रित अवस्था में प्राप्त हैं। स्वतंत्र ग्रंथ के रूप में नहीं हैं। वृहत्कल्प निर्युक्ति संघदासगणीकृत लघुभाष्य की गाथाओं के साथ तथा व्यवहार निर्युक्ति व्यवहार भाष्य के साथ मिश्रित है।

इन निर्युक्तियों में अन्य महत्त्वपूर्ण सामग्री के साथ सुप्राचीन विविध कथानकों के निर्देश भी हैं। कहीं-कहीं कथानकों का विस्तृत रूप है, जिनमें तात्कालीन संस्कृति एवं सभ्यता की झलक है। निर्युक्तियों की रचना से कथा साहित्य अत्यंत समृद्ध बना है एवं आगमों के पारिभाषिक शब्दों की सुसंगत व्याख्याओं के प्रस्तुतीकरण से जैन साहित्य के क्षेत्र में नवीन विद्या का द्वार उद्घाटित हुआ है। इन बिंदुओं के आधार पर निर्युक्तिकार आचार्य भद्रबाहु का जैन परंपरा में महत्त्वपूर्ण स्थान है।

*समय-संकेत*

आचार्यश्री महाप्रज्ञ जी द्वारा रचित 'जैन परंपरा का इतिहास' में निर्युक्ति-काल विक्रम की पांचवी-छठी सदी माना है। आचार्य भद्रबाहु के लघु सहोदर वराहमिहिर द्वारा रचित 'पंचसिद्धान्तिका' नामक ग्रंथ की रचना का समय वीर निर्वाण 1032, शक् सम्वत् 427 (विक्रम संवत् 562, ईस्वी सन् 505) निर्णित है। उपर्युक्त दोनों प्रमाणों के आधार पर निर्युक्तिकार भद्रबाहु का समय 'वीर निर्वाण की दसवीं, ग्यारहवीं शताब्दी' सिद्ध होता है।

*जिनागम सिंधु आचार्य जिनभद्रगणी के प्रभावक चरित्र* के बारे में जानेंगे... हमारी अगली पोस्ट में... क्रमशः...

प्रस्तुति --🌻 *संघ संवाद* 🌻
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त्याग, बलिदान, सेवा और समर्पण भाव के उत्तम उदाहरण तेरापंथ धर्मसंघ के श्रावकों का जीवनवृत्त शासन गौरव मुनि श्री बुद्धमलजी की कृति।

📙 *'नींव के पत्थर'* 📙

📝 *श्रंखला -- 78* 📝

*शोभाचंदजी बैंगानी (प्रथम)*

*यति वर्ग से अनबन*

थली में उस समय यति वर्ग की प्रबलता थी। जहां-जहां ओसवालों का अच्छी संख्या में निवास था। वहां-वहां प्रायः मंदिर या उपाश्रय थे। प्रायः प्रत्येक स्थान पर यति रहते थे। पूर्वकालीन यतियों में ज्ञान शिथिलता व आचार-शून्यता अधिक मात्रा में नहीं थी। वे शास्त्राध्ययन करते, व्याख्यान देते तथा भिक्षाटन करते थे। लोग उन्हें गुरु मानते और 'गुरांसा' कहकर सम्मानयुक्त संबोधित करते थे। कालांतर में यति वर्ग शिथिल हो गया। शास्त्राध्ययन भी गौण तथा विरल हो गया। उसका स्थान मंत्र-विद्या, ज्योतिष और वैद्यक ने ले लिया। उनका अध्यात्म बल ज्यों-ज्यों क्षीण होता गया त्यों-त्यों उनके प्रति लोगों की भी श्रद्धा क्षीण होती चली गई।

सम्वत् 1885 में किसी बात को लेकर बैंगानियों के साथ तत्रस्थ यतियों की अनबन हो गई। फलतः उन सबने उपाश्रय में आना-जाना छोड़ दिया। राजपूती आन-बान वाले बैंगानी झुकने को तैयार नहीं हुए और ज्ञान तथा मंत्र विद्या में गर्वित यति वर्ग उन्हें झुकाए बिना समझौता करने को उत्सुक नहीं हुआ, मन की गांठे खुलने के स्थान पर अधिकाधिक घुलती चली गई।

*पाली में प्रार्थना*

बिदासर के कुछ व्यक्तियों का व्यापारार्थ पाली आना जाना रहता था। वे लोग तेरापंथ से कुछ-कुछ परिचित थे। उन्होंने सुझाव दिया कि यति वर्ग के विरुद्ध तेरापंथी साधु-साध्वियों को यहां बुलाना चाहिए। वे आचार में बड़े सुदृढ़ होते हैं। अतः इन हीनाचारी यतियों के सम्मुख निर्भयतापूर्वक टिक सकेंगे। बात सभी के मन में जंच गई। उस समय शोभाचंदजी बैंगानी, उत्तमचंदजी बैंगानी, पृथ्वीराजजी बैंगानी तथा पंचाणदासजी बैंगानी ये चार व्यक्ति पाली के लिए जाने को तैयार हो गए। ऊंटों पर लंबा मार्ग पार करके वे पाली पहुंचे। उस वर्ष (संवत् 1886) ऋषिराय का चातुर्मास पाली में ही था। उन लोगों ने वहां दर्शन किए और थली में पधारने की प्रार्थना की।

ऋषिराय ने उनकी भावनाओं को समझा। वे इतने शीघ्र किसी वचन में तो नहीं बंधे परंतु चातुर्मास के पश्चात् अवसर पाकर उधर आने का आश्वासन अवश्य दे दिया। बिदासर वासी जिस उत्साह से आए थे उससे कहीं शतगुण अधिक उत्साहित होकर वापस गए।

*ऋषिराय का थली में पदार्पण कैसे और कब हुआ...?* जानेंगे और प्रेरणा पाएंगे... हमारी अगली पोस्ट में... क्रमशः...

प्रस्तुति --🌻 *संघ संवाद* 🌻
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News in Hindi

👉 दिल्ली - *मुनि श्री जयकुमार जी व सुविख्यात एंकर व पत्रकार राजदीप सरदेसाई के बीच अणुव्रत पर सार्थक चर्चा*
👉 बेलपाड़ा - "निर्माण" एक नन्हा सा कदम स्वच्छता की ओर
👉 पनवेल (मुम्बई) - जैन संस्कार विधि के बढते चरण
👉 इरोड: "निर्माण - एक नन्हा कदम स्वच्छता की ओर” के अंतर्गत छट्ठे चरण का कार्यक्रम
👉 होस्पेट - वर्ल्ड कैंसर डे के उपलक्ष में प्लास्टिक फ्री वीक कार्यक्रम आयोजित
👉 श्रीडूंगरगढ - मंगलभावना व अभिनंदन कार्यक्रम आयोजित
👉 कोलकाता - "पलास्टिक को कहें ना" के अंतर्गत कार्यक्रम आयोजित
👉 जलगांव - प्लास्टिक को कहे ना अभियान

प्रस्तुति: 🌻 *संघ संवाद* 🌻

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👉 *"अहिंसा यात्रा"* के बढ़ते कदम

👉 पूज्यप्रवर अपनी धवल सेना के साथ विहार करके "नकची" पधारेंगे

👉 आज का प्रवास - माहेश्वरी हाई स्कूल, नाकची, जिला - अंगुल (ओड़िशा)

प्रस्तुति - *संघ संवाद*

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👉 कृष्णगिरि - शासनश्री साध्वी श्री विद्यावतीजी ने किया तमिलनाडु मंगल प्रवेश
प्रस्तुति: *🌻संघ संवाद🌻*

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Sources

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SS
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  1. Jainism
  2. Sangh
  3. Sangh Samvad
  4. Terapanth
  5. अशोक
  6. आचार्य
  7. आचार्यश्री महाप्रज्ञ
  8. ज्ञान
  9. दर्शन
  10. भाव
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