News in English:
Anna Hazare Seeks Blessings From Acharya Mahashraman Before Undertaking Historical Fast.
Acharya Mahashraman while addressing 62nd Annual Conference of Anuvrata told that Anuvrata Movement is awakening consciousness of Sanyam. A person can do work and it is his duty. To dedicate life with strong will power and fearlessness is unique thing. Gandhian leader Anna Hazare told that " village will not change till a person change. Nation will not change till a village change. A change in nation can bring peace to world. Anuvrat Movement started by Acharya Tulsi is a powerful weapon for change. I lived Anuvrata and felt power of it. Anuvrata has power to remove 6 corrupt cabinet minister and 400 officers." He recalled experience of his own village and told all shops that were selling wine and liquor closed and today not a single person smoke there. No Jains are in my village but all are vegetarians and it is possible due to Anuvrata.
News In Hindi:
केलवा, 31 जुलाई, 2011। अणुव्रत एक ऐसा आंदोलन जो संयम की चेतना के जगाने का प्रयास करने वाला है ।यह उदबोधन अणुव्रत अनुशास्ता आचार्यश्री महाश्रमण ने 62वें अणुव्रत अधिवेशन के दौरान दिया। उन्होंने फरमाया कि आदमी का काम तो पुरुषार्थ करना है। कर्म करने में आदमी का अधिकार होता है। व्यक्ति में आत्मबल होना चाहिए। निर्भीकता व संकल्प के साथ जीवन का त्याग कर देना एक विशिष्ट बात है। गांधीवादी विचारक व सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने कहा कि जब तक आदमी नहीं बदलेगा तब तक गांव नहीं बदलेगा। जब तक गांव नहीं बदलेगा, तो देश नहीं बदलेगा और जब तक देश नहीं बदलेगा तब तक दुनिया में शान्ति नहीं आएगी। और आदमी को बदलने के लिए अणुव्रत बहुत महत्वपूर्ण है। जिसका प्रवर्तन आचार्यश्री तुलसी ने किया था। उन्होंने अणुव्रत की शक्ति के बारे में बताते हुए कहा कि अणुव्रत एक महाशक्ति है जिसका मैंने अनुभव किया है और इसी जीया है। आज उसी कारण मैं भ्रष्टाचार के विरुद्ध लड़ रहा है। यह अणुव्रत की ही शक्ति है कि छ: भ्रष्टाचार कैबिनेट मंत्री और 400 भ्रष्टाचारी अफसर अपने घर चले गए। अन्ना हजारे ने कहा कि जिस तरह से भुटटे की फसल को तैयार करने के लिए एक दाने का बलिदान देना होता है उसी प्रकार भ्रष्टाचार को मिटाने के लिए एक व्यक्ति की जरुरत है। और वह व्यक्ति मैंने अपने आपको बनाना स्वीकार किया है। अणुव्रत की ताकत के बारे में कह कि मेरे गांव में शराब की 40 भटिटयां चलती थी। पर आज वहां कोई बीड़ी- सिगरेट तक भी नहीं पीता। जहां लोग भूखे मरते थे आज वहां से विदेशों तक तरकार जाती है। पूरे गांव में जैन नहीं हैं परन्तु पूरा गांव शाकाहारी है। यह सब अणुव्रत की ताकत से ही मुमकिन हो सका है।