Update
📿 *नवीन चातुर्मास घोषणा*📿
🔹 *परम पूज्य आचार्य श्री महाश्रमण जी* ने महत्ती कृपा कर *साध्वी श्री उज्वलप्रभाजी* आदि ठाणा 4 का *संवत 2075 का चातुर्मास रतलाम (म प्र)* में फरमाया है।
🔹 *परम पूज्य आचार्य श्री महाश्रमण जी* ने महत्ती कृपा कर *साध्वी श्री मधुस्मिताजी* ठाणा -६ का *संवत 2075 का चातुर्मास विजयनगर बैंगलोर* फरमाया है ।
प्रस्तुति: 🌻 *संघ संवाद*🌻
🎖🍥 *अणुव्रत पत्रिका* 🍥🎖
🔹 *नई साज-सज्जा के साथ* 🔹
📍 *फरवरी के आकर्षण* 📍
पढिये❗सद्य-प्रकाशित अंक में
✍ *रूढ़ि उन्मूलन और नया मोड़*
✍ *धर्म और संस्थागत धर्म*
✍ *विकास का पथ प्रदर्शन*
✍ *नए मोड़ का आह्वान*
🔅प्रेषक 🔅
*अणुव्रत सोशल मीडिया*
🔅संप्रसारक🔅
🌻 *संघ संवाद* 🌻
Source: © Facebook
Update
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*03/02/18* दक्षिण भारत मे मुनि वृन्द, साध्वी वृन्द का सम्भावित विहार/ प्रवास
दर्शन सेवा का लाभ ले
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*संघ संवाद* + *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी* *के आज्ञानुवर्ति मुनिश्री सुव्रत कुमार जी ठाणा* 2 का प्रवास *Shree Jain Swetamber Terapanth sabha*
No 5 Thalayattam Bazzar
Near police station *Gudiyattam* Tamilnadu
☎9003789485,9150179971
9488921371
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*संघ संवाद* + *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के आज्ञानुवर्ती मुनि श्री रणजीत कुमार जी ठाणा २* का प्रवास
*भिकमचन्द जी दक के निवास स्थान पर*
नियर - KEB OFFICE
*पेरियापटना* (कर्नाटक)
मैसुर - मैगलौर रोड
☎9448385582
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के सुशिष्य*
*मुनि श्री ज्ञानेन्द्र कुमार जी ठाणा 3* का प्रवास
*महावीर भवन*
*विलिपुरम*
☎8107033307
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के सुशिष्य डॉ *मुनि श्री अमृत कुमार जी ठाणा २ का प्रवास*
*महावीर भवन*
*विलिपुरम*
☎9566296874
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के सुशिष्य मुनि श्री प्रशान्त कुमार जी ठाणा २* का प्रवास
*Jain Bhawan*
TD Road Near Convent in
*ERNAKULAM* (केरला) ☎9672039432,7907269421
92469989090
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी के सुशिष्य मुनि श्री सुधाकर जी एवं मुनि श्री दीप कुमार जी का प्रवास*
*HAVERI SE VIHAAR KAR KE AGANWADI CHATRA पद्यारेगे* (कर्नाटक)
पुना - बैगलौर हाईवे
☎7821050720,9558651374
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या 'शासन श्री' साध्वी श्री विद्यावती जी 'द्वितिय' ठाणा ५* का प्रवास
मंगलचन्दजी संतोषकुमारजी
बाठिया के निवास स्थान से प्रातः 7:15 बजे 10.5 km का विहार करके *Krishnappa Chamarspalli Guest House* पधारेंगे।
KGF - KRISHNAGIRI ROAD (कर्नाटक)
☎8890788494,
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या "शासन श्री" साध्वी श्री यशोमती जी ठाणा 4* का प्रवास
*Gokul Pandera से 10.5 km का विहार करके KAGITA HIGH SCHOOL पधारेगे*
विशाखापट्नम् - चेन्नैइ रोड
☎7297958479,9025434777
7044937375
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या 'शासन श्री' साध्वी श्री कंचनप्रभा जी ठाणा 6* का प्रवास
*अर्हम भवन विजयनगर बैगलौर*
(कर्नाटक)
☎7624946879,
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी श्री काव्यलता जी ठाणा 4* का प्रवास
*North town*
*Chennai* (तमिलनाडु)
☎9884901680,
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी श्री प्रज्ञाश्री जी ठाणा 4* का प्रवास
*कानराज जी कोचर के निवास स्थान पर*
*माटंडम* (तमिलनाडु)
☎9629840537
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी श्री सुदर्शना श्री जी ठाणा 4* का प्रवास
*तेरापंथ भवन*
*बल्लारी* (कर्नाटक)
☎7230910977,8830043723
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*संघ संवाद*+ *संघ संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी श्री लब्धि श्री जी ठाणा 3 का प्रवास*
*तेरापंथ सभा भवन*
*हासन*
☎9601420513,
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*संध संवाद*+ *संध संवाद*
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*आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी श्री मघुस्मिता जी ठाणा 6* का प्रवास
*तेरापंथ सभा भवन गॉधीनगर बैगलौर* (कर्नाटक)
☎7798028703
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प्रस्तुति:- 🌻 *संघ संवाद* 🌻
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News in Hindi
👉 पुणे - निर्माण एक नन्हा सा कदम स्वच्छता की ओर कार्यक्रम
👉 टिटिलागढ़: आचार्य श्री महाश्रमण जी के पश्चिम ओडिशा की यात्रा के संदर्भ में "जाग्रति" कार्यशाला का आयोजन
👉 राजाराजेश्वरी नगर - plastic free week मनाने का आगाज
👉 विजयनगर, बेंगलुरू: तेरापंथ महिला मंडल द्वारा “बने श्रेष्ठ अभिभावक” सेमिनार का आयोजन
👉 जयपुर - say no to plastic पोस्टर का विमोचन एवं भाषण प्रतियोगिता का आयोजन
👉 बड़ौदा - स्वच्छ भारत अभियान के अन्तर्गत मोड्युल-6 का आयोजन
👉 राउरकेला - "निर्माण" कार्यक्रम के अन्तर्गत पांचवा माड्युल कार्यक्रम का आयोजन
प्रस्तुति: 🌻 *संघ संवाद*🌻
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जैनधर्म की श्वेतांबर और दिगंबर परंपरा के आचार्यों का जीवन वृत्त शासन श्री साध्वी श्री संघमित्रा जी की कृति।
📙 *जैन धर्म के प्रभावक आचार्य'* 📙
📝 *श्रंखला -- 249* 📝
*भवार्णव पारगामी आचार्य भद्रबाहु-द्वितीय*
*(निर्युक्तिकार)*
द्वितीय भद्रबाहु की प्रसिद्धि निर्युक्तिकार आचार्य के रूप में है। श्रुतकेवली भद्रबाहु से निर्युक्तिकार भद्रबाहु भिन्न थे एवं पश्चात्वर्ती थे। निमित्त-शास्त्र तथा मंत्र विद्या का निर्युक्तिकार भद्रबाहु को विशेष ज्ञान था। वे बहुश्रुत आचार्य थे। आगमिक निर्युक्तियों में जैन परंपरा के महत्त्वपूर्ण पारिभाषिक शब्दों की विशद व्याख्या प्रस्तुत करने का सर्वप्रथम श्रेय उन्हें है।
*जन्म एवं परिवार*
निर्युक्तिकार भद्रबाहु ब्राह्मण वंशज थे। उनका जन्म महाराष्ट्र के प्रतिष्ठानपुर में हुआ। उनके गृहस्थ जीवन संबंधी विशेष सामग्री उपलब्ध नहीं है और न उनके माता-पिता के संबंध में किसी प्रकार की सूचना ग्रंथों में है। इतिहास में सुप्रसिद्ध ज्योतिर्विद् विद्वान् वराहमिहिर भद्रबाहु का लघु सहोदर था।
*जीवन-वृत्त*
गृहस्थ जीवन में भद्रबाहु और वराहमिहिर दोनों सहोदर निर्धन एवं निराश्रित थे। संसार से विरक्त होकर उन्होंने जैन दीक्षा ली और ज्योतिष शास्त्र के प्रकांड विद्वान बने। वराहमिहिर में प्रतिस्पर्धा का भाव अधिक था। विनय आदि गुणों से संपन्न सुशील एवं सरल स्वभावी मुनि भद्रबाहु को सर्वथा योग्य समझकर उन्हें आचार्य पद पर अलंकृत किया गया। इससे पदाकांक्षी वराहमिहिर का अहं प्रबल हो गया। मुनि वेश का परित्याग कर वह प्रतिष्ठानपुर में पहुंचा तथा अपने निमित्त ज्ञान से वहां के राजा जीतशत्रु को प्रभावित कर उनका कृपापात्र पुरोहित बना। अपने को प्रख्यात करने के उद्देश्य से उसने विचित्र घोषणाएं कीं और जनता को बताया सूर्य के साथ विमान में बैठ कर मैंने ज्योतिष चक्र का परिभ्रमण किया है। मेरे बुद्धि बल पर प्रसन्न होकर स्वयं सूर्य ने मुझे ज्योतिष विद्या का बोध दिया तथा ग्रह मंडल एवं नक्षत्रों की गतिविधि से अवगत कराया है। मैं उनके आदेश से ही जनहितार्थ पृथ्वी पर चक्रमण कर रहा हूं। ज्योतिष शास्त्र की रचना मैंने स्वयं की है।
*क्या वराहमिहिर द्वारा की गई इन विचित्र घोषणाओं का प्रभाव जनता पर लंबे समय तक रहा...?* जानेंगे... हमारी अगली पोस्ट में... क्रमशः...
प्रस्तुति --🌻 *संघ संवाद* 🌻
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त्याग, बलिदान, सेवा और समर्पण भाव के उत्तम उदाहरण तेरापंथ धर्मसंघ के श्रावकों का जीवनवृत्त शासन गौरव मुनि श्री बुद्धमलजी की कृति।
📙 *'नींव के पत्थर'* 📙
📝 *श्रंखला -- 73* 📝
*फोजमलजी तलेसरा*
*प्रमुख श्रावक*
फोजमलजी का जन्म अटारिया में हुआ था। वे चार भाई थे। एक उनके बहन भी थी। सम्वत् 1887 में नाथद्वारा के सुप्रसिद्ध श्रावक मायाचंदजी तलेसरा के यहां दत्तक पुत्र के रूप में आए। मायाचंदजी के समान वे भी अच्छी धार्मिक रुचि वाले श्रावक थे। नाथद्वारा और उसके आसपास के अनेक क्षेत्रों में पचासों परिवार उनके संपर्क से श्रद्धालु बने। ऋषिराय तथा जयाचार्य के शासनकाल में वे एक प्रमुख श्रावक गिने जाते थे।
संवत् 1909 में उनके प्रथम परिवार के छोटे भाई हरखचंदजी ने दीक्षा ग्रहण की। तब से फोजमलजी की वृत्ति और भी अधिक धार्मिक हो गई। उसी वर्ष उन्होंने बारह व्रत ग्रहण किए। उसके अंतर्गत परिग्रह परिमाण में उन्होंने एक लाख अस्सी हजार का आगार रखा। उसके पश्चात् वे समय-समय पर और भी विभिन्न प्रकार के प्रत्याख्यान करते रहे। प्रायः प्रत्येक चातुर्मास में वे तपस्या भी किया करते थे।
व्यवस्था करने में भी वे बड़े निपुण थे। सामाजिक तथा धार्मिक अवसरों पर हर प्रकार की स्थानीय व्यवस्था में प्रायः उनका सहयोग रहा ही करता था। अन्य क्षेत्रों में भी अपनी सेवा देने को वे सदा तत्पर रहते थे। उदयपुर में जब सरदार सती की दीक्षा हुई तब वहां की व्यवस्था में उन्होंने काफी सहयोग दिया था।
*महान शय्यातर*
संवत् 1903 में फोजमलजी ने अपने निवास की सुविधा के लिए एक नई हवेली बनवाई। वह तीन मंजिल की थी। ऊपर की मंजिल में वे रहने लगे। नीचे की मंजिल खाली ही रहा करती थी। ऋषिराय से उन्होंने प्रार्थना की कि साधु-साध्वियों के चातुर्मास उनकी हवेली में कराने की कृपा की जाए। ऋषिराय ने उनकी प्रार्थना को स्वीकार कर लिया और जिनको वहां चातुर्मास के लिए भेजा उन्हें यह निर्देश दे दिया। संवत् 1907 में उनकी हवेली में चातुर्मास हुआ। उसके पश्चात् भी वहीं चातुर्मास होते रहे। संवत् 1912 में जयाचार्य का चातुर्मास कहां हुआ। तब आगे के लिए साधु-साध्वियों को वहीं चातुर्मास करवाते रहने के लिए फोजमलजी ने बहुत बल देकर प्रार्थना की। जयाचार्य ने तब यथासंभव वैसा करते रहने का आश्वासन देते हुए फरमाया कि संत चातुर्मास करें तो केवल नीचे ही रहें अगर साध्वियां करें तो नीचे आवश्यकता हो तो ऊपर भी जा सकती हैं। जयाचार्य के उस आशा भरे आश्वासन और निर्देश पर वे बड़े प्रसन्न हुए। उसके पश्चात् लगातार उनकी हवेली में चातुर्मास होने लगे। इस प्रकार इक्यासी वर्षों (संवत् 1907 से 1987) तक एक ही परिवार को शय्यातर का लाभ मिलता रहा। उसके पश्चात् स्थानीय पंचायती नोहरों में चातुर्मास होने लगे।
*श्रावक फोजमलजी के जीवन की विविध घटनाओं के बारे में उनके प्रेरणादायी जीवन-वृत्त* आगे और जानेंगे व प्रेरणा पाएंगे... हमारी अगली पोस्ट में... क्रमशः...
प्रस्तुति --🌻 *संघ संवाद* 🌻
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*जयपुर: संथारा सम्पन्न*
*'संथारा साधिका'* सुश्राविका श्रीमती *निजरी देवी बोथरा का संथारा कल* (01/02/2018) *रात्रि में 10.25 पर सीझ गया* है।
*अंतिम शोभा यात्रा* आज (02/02/2018) *प्रातः 09.30 बजे* A-89 नर्मदा पथ, पारसनाथ कॉलोनी, निर्माण नगर से रवाना होकर *10.15 बजे जयाचार्य स्मारक से* बैकुंठी के साथ *आदर्श नगर मोक्ष धाम* जायेगी।
प्रेषक: 🙏🏻 *संघ संवाद* 🙏🏻
👉 प्रेक्षा ध्यान के रहस्य - आचार्य महाप्रज्ञ
प्रकाशक - प्रेक्षा फाउंडेसन
📝 धर्म संघ की तटस्थ एवं सटीक जानकारी आप तक पहुंचाए
🌻 *संघ संवाद* 🌻
Source: © Facebook
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👉 *"अहिंसा यात्रा"* के बढ़ते कदम
👉 पूज्यप्रवर अपनी धवल सेना के साथ विहार करके "कनसारा" पधारेंगे
👉 आज का प्रवास - यूपी स्कूल, कनसारा, जिला - ढेकानल (ओड़िशा)
प्रस्तुति - *संघ संवाद*
पूर्व निर्धारित प्रवास स्थल में हुए परिवर्तन के पश्चात "अहिंसा यात्रा" प्रणेता आचार्य श्री महाश्रमणजी का आज का प्रवास ओड़िशा राज्य के ढेकानल जिले के महीधारपुर में स्थित नोडल हाइस्कूल में होगा।
🌻 *संघ संवाद* 🌻
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