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Samdari: 07.06.2013
Devotees are Hearing Pravachan of Acharya Mahashraman.
News in Hindi
शुभ मनोयोग से ही होता है शुभ चिंतन'
समदड़ी 07 जून 2013 तेरापंथ न्यूज ब्योरो के लिए स्वरूपदाति
शुभ मनोयोग से ही शुभ चिंतन होता है। इसलिए इंसान को मन में अच्छे विचार लाने चाहिए। मन को साथ कर ही आध्यात्मिक उन्नति की जा सकती है। वाणी पर संयम से ही हम शांत रहकर जीवन की नय्या पार लगा सकते हैं। ये विचार तेरापंथ धर्मसंघ के आचार्य महाश्रमण ने गुरुवार को तेरापंथ भवन में आयोजित धर्मसभा को संबोधित करते हुए व्यक्त किए।
उन्होंने कहा कि सत्य वो शक्ति है, जिससे तेज उत्पन्न होगा। सत्य शांति को उत्पन्न करता है। वैसे तो हर व्यक्ति ईंट का जवाब पत्थर से दे सकता है, लेकिन संयमित व्यक्ति वही है जो ईंट का जवाब कुल से दें। कुल से जवाब देने के लिए मन वाणी पर नियंत्रण रखने के लिए सतत् साधना करनी होगी। मुनियों का सानिध्य प्राप्त करना होता है। बखाण में कही गई बातों को दिनचर्या में धारण करना होता है। इस अवसर पर साध्वी प्रमुख कनकप्रभा ने संबोधित करते हुए कहा कि अपने भावों केा बदलने से संसार बदला हुआ नजर आता। जैसे-जैसे धर्म का प्रभाव बढ़ता है तो मस्तिष्क में सुविचार आने लगते हैं और जीवन का लक्ष्य निर्धारित होता है।
इंसान का लक्ष्य एक होना चाहिए।
जयकारों के बीच समदड़ी में प्रवेश: आचार्य महाश्रमण का समदड़ी नगर प्रवेश जयकारों के बीच हुआ। आचार्य महाश्रमण करमावास से ८.३० बजे रवाना होकर ध्वजा वाहिनी सेना के साथ ९.३० बजे समदड़ी पहुंचे। आचार्य महाश्रमण के दर्शन से लाभांवित होने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचे।