ShortNews in English:
Amet: 16.01.2012
Acharya Mahashraman addressed all religion meet.
Ahimsa, Sanyam and Tap are key points of All Religion: Acharya Mahashraman.
News in Hindi
अहिंसा, संयम और तपस्या धर्म के आयाम हैं
आचार्य महाश्रमण का आमेट पदार्पण, श्रावकों ने किया भव्य स्वागत
आमेट १६ जनवरी २०१२ जैन तेरापंथ न्यूज ब्योरो
आचार्य महाश्रमण ने कहा कि धर्म के तीन आयाम अहिंसा, संयम और तपस्या है, जिस व्यक्ति में तीनों ही आयामों का समावेश है। उसका जीवन मंगलकारी है।
आचार्यश्री रविवार को यहां तेरापंथ भवन में 21 दिवसीय प्रवास के पहले दिन रविवार को स्वागत समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने सलाह दी कि वे लोग अपने प्रतिष्ठानों में नैतिकता की देवी की स्थापना अवश्य करें। साथ ही दूसरों के प्रति परस्पर सौहार्द की भावना का विकास करें। इससे अनेक समस्याओं पर स्वत:: अंकुश लग जाएगा। उन्होंने कहा कि हम कोई भी काम करने से पहले मंगल कामना करते और प्रयास शुरू करते हैं, लेकिन जिसके मन में धर्म के प्रति आदर और सम्मान है। उसी का मंगल होता है। उन्होंने कहा कि आमेट नगर में 148 वां मर्यादा महोत्सव मनाने के लिए साधु साध्वियों के साथ प्रवेश किया है। तेरापंथ धर्मसंघ में मर्यादाओं का विशेष महत्व है। दूर दराज के इलाकों में चार माह तक चातुर्मास कर चुके साधु साध्वियों का जमावड़ा यहां लगेगा। मुनि सुमेर मल ने कहा कि आचार्य ने अपनी धवल सेना के साथ आमेट में मर्यादा महोत्सव के दौरान प्रवेश किया है। यह सौभाग्य की बात है। जैन श्वेतांबर तेरापंथी सभाध्यक्ष कन्हैयालाल कच्छारा, खेल मंत्री मांगीलाल गरासिया, विधायक गणेशसिंह परमार, पालिकाध्यक्ष कैलाश मेवाड़ा, समिति के संयोजक धर्मचंद, सहसंयोजक सलिल लोढ़ा, मुनि किशनलाल, तत्व रुचि ने भी विचार रखे।